tag:blogger.com,1999:blog-3943433274577256741.post8976748172707661595..comments2022-01-24T10:34:59.865-08:00Comments on बात बोलेगी: अग्नि शेखर के संग्रह 'जवाहर टनल' पर जयश्री रॉयविमलेश त्रिपाठीhttp://www.blogger.com/profile/02192761013635862552noreply@blogger.comBlogger5125tag:blogger.com,1999:blog-3943433274577256741.post-31588814461497884812018-07-24T08:28:10.903-07:002018-07-24T08:28:10.903-07:00बढ़ियाबढ़ियानिर्मितीच्या वाटाhttps://www.blogger.com/profile/05544266787357334808noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3943433274577256741.post-84189750289002044842017-02-04T10:50:08.373-08:002017-02-04T10:50:08.373-08:00अच्छी कवितायेँ , अग्निशेखर जी की कविता ** जवाहर टन...अच्छी कवितायेँ , अग्निशेखर जी की कविता ** जवाहर टनल ** का मैंने बांग्ला भाषा में अनुवाद किया है ।Mita Dashttps://www.blogger.com/profile/14458823983093144362noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3943433274577256741.post-92105474463032631872016-07-15T22:30:21.876-07:002016-07-15T22:30:21.876-07:00काश्मीर की संस्कृति और दुख देखना हो तो अग्नि...काश्मीर की संस्कृति और दुख देखना हो तो अग्निशेखर की कवितायें हमारी मदद करती है..कविताओं को पढ़ते हुये हम गहरी यातना से गुजरते है यह कवि की निजी यातना भी है.Swapnil Srivastavahttps://www.blogger.com/profile/10836943729725245252noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3943433274577256741.post-1350579390360008652012-08-17T23:50:49.390-07:002012-08-17T23:50:49.390-07:00"इन कविताओं की सबसे बडी विशेषता यह है कि ऐसी ..."इन कविताओं की सबसे बडी विशेषता यह है कि ऐसी संवदनशील विषय को भी कवि कहीं अमानवीय, प्रतिक्रियावादी या हिंसक नहीं होने देता। वह मनुष्य है, इसलिए आहत है, खंडित है, मगर हारा हुआ कतई नहीं है . घृणा, संशय की गहरी, विषाक्त दुनिया और हत्यारे समय के चंगुल से वह अपनी आस्था और प्रेम को सकुशल बचा लाने के लिए प्रतिबद्ध है। किसी भी कठिन परिस्थिति में अपना यकीन नहीं खोता, विपर्जय में दिशाहारा नहीं होता। उसे अपनी सर्वधर्म सद्भाव, सहिष्णुता और अहिंसा, प्रेम की सनातन परंपरा और विरासत पर विश्वास है।"...!!!सुशीला पुरीhttps://www.blogger.com/profile/18122925656609079793noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3943433274577256741.post-11537016494853778592012-08-17T07:00:22.490-07:002012-08-17T07:00:22.490-07:00अति सुंदर रचना है , क्यों न बार बार पढूं ?अति सुंदर रचना है , क्यों न बार बार पढूं ?Darshan Darveshhttps://www.blogger.com/profile/12199453189017666485noreply@blogger.com